मेरे गणराज सभा में आज मेंरी लाज रखना

। मेरे गणराज सभा में आज मेंरी लाज रखना।

तर्ज -सलआमए इश्क मेंरी जा जरा अबुल कर लो।

मेरे गणराज सभा में आज मेंरी लाज रखना।
मेरा कीर्तन अधुरा तुम्हारे बिना।।

एक अंधा तेरे द्वार पे आ गया।।
वो तो रो-रो के बेहाल हो ही गया।।
नैना दे दो उसे उम्र भर के लिए।

एक गुंगा तेरे द्वार पे आ गया।।
वो तो रो-रो के बेहाल हो ही गया।।
वाणी दे दो उसे उम्र भर के लिए।

एक लुला तेरे द्वार पे आ गया।।
वो तो रो-रो के बेहाल हो ही गया।।
हाथ दे दो उसे उम्र भर के लिए।

एक लंगड़ा तेरे द्वार पे आ गया।।
वो तो रो-रो के बेहाल हो ही गया।।
पैर दे दो उसे उम्र भर के लिए।

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